बदन पर धोती लपेटे नंगे पाँव पद्मश्री पुरस्कार लेने पहुंची तुलसी गौड़ा के बारे में आज हर कोई जानना चाहता है। तुलसी गौड़ा कौन हैं? तुलसी गौड़ा को पद्मश्री अवार्ड क्यों दिया गया? ऐसे तमाम सवाल लोगों में जेहन में उठ रहे हैं। ऐसे में आइए आज जानते हैं तुलसी गौड़ा का जीवन परिचय (Tulsi Gowda Biography in Hindi)
तुलसी गौड़ा का जीवन परिचय – Tulsi Gowda Biography in Hindi
पूरा नाम | तुलसी गौड़ा |
निक नेम | Encyclopedia of Forest |
जन्म | 1944 |
आयु | 72 वर्ष |
निवास | कर्नाटक |
पति का नाम | गोविंद गौड़ा |
पुरस्कार | इंदिरा प्रियदर्शिनी वृक्ष मित्र अवार्ड (1986) कर्नाटक राज्योत्सव पुरस्कार (1999) कविता मेमोरियल अवार्ड पद्म श्री अवार्ड 2020 (2021) |
शिक्षा | अशिक्षित |
कौन हैं तुलसी गौड़ा? – Who is Tulsi Gowda?
तुलसी गौड़ा हलक्की स्वदेशी जनजाति से तालुक रखती हैं। अपनी ज़िंदगी में तुलसी गौड़ा ने लगभग 1 लाख से भी ज्यादा पेड़ लगाए हैं। यही कारण है कि तुलसी गौड़ा को जंगल का इनसाइक्लोपीडिया (Women Encyclopedia of Forest) कहा जाता है। तुलसी गौड़ा को पेड़ पौधों के बारे में काफी जानकारी है।
लता मंगेशकर का जीवन परिचय | Lata Mangeshkar Biography in Hindi
तुलसी गौड़ा का जन्म कब हुआ – Tulsi Gowda Birthdate
साल 1944 में कर्नाटक के एक गरीब परिवार में तुलसी गौड़ा का जन्म हुआ था। वह हलक्की स्वदेशी जनजाति से तालुक रखती हैं। गरीब परिवार में जन्मी तुलसी कभी शिक्षा प्राप्त नहीं कर सकीं।
तुलसी गौड़ा का परिवार – Tulsi Gowda Family
बहुत कम उम्र में ही तुलसी के पिता की मौत हो गई। जिसके बाद तुलसी ने अपने माँ और बहनो के साथ काम करना शुरू कर दिया। तुलसी जब 11 साल की थीं तभी उनकी शादी करा दी गई। लेकिन कुछ समय बाद उन्होंने अपने पति को भी खो दिया। अपने अकेलेपन को दूर करने के लिए तुलसी ने पेड़ पौधों की देख रेख में अपना जीवन लगा दिया। तुलसी गौड़ा ने अपने ज़िंदगी में लगभग 1 लाख से भी ज्यादा पेड़ लगाएं हैं
तुलसी गौड़ा को देश का चौथा सबसे बड़ा सम्मान
आठ नवंबर 2021 के दिन तुलसी गौड़ा को देश के चौथे सबसे बड़े नागरिक सम्मान पद्मश्री से नवाज़ा गया। दरअसल तुलसी ने अपनी पूरी ज़िंदगी पर्यावरण को समर्पित कर दी। इतना ही नहीं तुलसी को पेड़ों के बारे में बहुत अच्छी जानकारी है। यही कारण है कि तुलसी को जंगल का इनसाइक्लोपीडिया (Women Encyclopedia of Forest) भी कहा जाता है। एक अस्थायी स्वयंसेवक के रूप में तुलसी वन विभाग में भी शामिल हैं। वह दूसरों को भी सिखाती हैं कि पेड़ों का हमारी ज़िंदगी में क्या महत्व है।
तुलसी गौड़ा को मिले पुरस्कार
तुलसी गौड़ा को इंदिरा प्रियदर्शिनी वृक्ष मित्र अवार्ड
पेड़-पौधों की देखभाल के लिए तुलसी को इंदिरा प्रियदर्शिनी वृक्ष मित्र अवार्ड मिल चुका है। यह अवार्ड तुलसी को साल 1986 में दिया गया था। इस अवार्ड को IPVM अवार्ड के नाम से भी जाना जाता है। साल 1986 में इस अवॉर्ड की शुरूआत पर्यावरण और वन मंत्रालय द्वारा की गई थी।
तुलसी गौड़ा को कर्नाटक राज्योत्सव पुरस्कार
साल 1999 में तुलसी को कर्नाटक राज्योत्सव अवार्ड दिया गया था। यह अवॉर्ड कन्नड़ राज्योत्सव पुरस्कार के नाम से भी जाना जाता है। यह पुरस्कार राज्य के 60 से अधिक नागरिकों को दिया जाता है। 1999 में तुलसी गौड़ा इस अवार्ड को प्राप्त करने वाली 68 लोगों में से एक थी।
तुलसी गौड़ा को कविता मेमोरियल अवार्ड
इसके साथ ही तुलसी गौड़ा को कविता मेमोरियल अवार्ड भी मिल चुका है।
तुलसी गौड़ा को पद्मश्री अवार्ड
साल 2020 का पद्म श्री अवॉर्ड तुलसी गौड़ा को 2021 में दिया गया। दरअसल कोरोना महामारी की वजह से साल 2020 में पद्म पुरस्कारों का वितरण नहीं हो सका था। इसी वजह से साल 2020 के पद्म पुरस्कारों का वितरण आठ नवंबर 2021 के दिन किया गया। इस पुरस्कार को लेने पहुंची तुलसी गौड़ा की तस्वीर ने सभी का ध्यान अपनी ओर खींच लिया। दरअसल तुलसी गौड़ा नंगे पाँव और पारम्परिक धोती पहन कर राष्ट्रपति भवन में आयोजित समारोह में पहुंची थीं। इस दौरान उन्हें राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद द्वारा भारत का चौथा सर्वोच्च नागरिक पुरस्कार पद्म श्री से सम्मानित किया गया।
FAQ’s
Q : तुलसी गौड़ा कौन हैं?
Ans : तुलसी गौड़ा को जंगल का इनसाइक्लोपीडिया कहा जाता है, जिन्होंने अपनी ज़िंदगी में लगभग 1 लाख से भी ज्यादा पेड़ लगाएं हैं।
Q : तुलसी गौड़ा को पद्मश्री अवार्ड कब मिला?
Ans : तुलसी गौड़ा को साल 2020 का पद्मश्री अवार्ड साल 2021 में 8 नवम्बर को दिया गया। क्योंकि कोरोना की वजह से अवार्ड सेरेमनी की तारीख बढ़ा दी गई थी।
Q : तुलसी गौड़ा के पति का नाम क्या है?
Ans : तुलसी गौड़ा के पति का नाम गोविंद गौड़ा है।